उझानी (बदायूं)। नरऊ गांव के जहरीले पानी का मामले में ग्रामीणों के मुखर होने के बाद अब प्रशासन भी गंभीर हो गया है। मंगलवार को डीएम, एसएसपी ने गांव का दौरा कर जहरीले तालाब का मुआयना किया किया। गाँव के बाहर बनाये जा रहे अस्थायी नाले की स्थिति को जाना। उन्होंने माना कि गांव की समस्या गंभीर है। संक्रमित बिमारियों से जूझते ग्रामीणों की समस्या के समाधान के लिए गाँव में स्वास्थ्य कैम्प लगाने का आदेश दिया।
दूषित पानी से निजात दिलाने के लिए आश्वासन की घुट्टी से तंग आकर ग्रामीण कल सोमवार को धरने पर बैठ गए थे। बच्चों को स्कूल भेजने का भी बहिष्कार कर दिया जिसके बाद एसडीएम सदर पारसनाथ मौर्य, विधायक धर्मेन्द्र शाक्य ने पहुँचकर लोगों को समझाकर धरना प्रदर्शन खत्म करवाया। उन्होंने गाँव के बाहर से होते हुए एक अस्थायी नाले के निर्माण की बात कही, जिस पर मंगलवार सुबह से ही काम शुरू हो गया।
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जिलाधिकारी कुमार प्रशांत, एसएसपी अशोक त्रिपाठी सुबह 11 बजे गाँव पहुँचे, उन्होंने गाँव के बाहर नाले के लिए हो रही जेसीबी से खुदाई की स्थिति को जानकर नगर पालिका को जेसीबी की संख्या बढाने का आदेश दिया। इसके बाद वो गाँव के तालाब पर गए। गाड़ियों के काफिले की आवाज सुन ग्रामीण भी घरों से बाहर आ गए। उन्होंने अपना दर्द साझा करते हुए बताया कि गाँव के खेत नाले के पानी में डूब चुके हैं। नालों से पीला पानी निकल रहा है। अस्पतालों में उचित इलाज नहीं मिल रहा। गाँव में एक दिन ही डॉक्टर आए हैं।
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जिलाधिकारी ने ग्रामीणों की समस्या को सुन आश्वासन दिया कि दूषित पानी की समस्या का जल्द से जल्द समाधान किया जाएगा, नाले का पानी दूसरी दिशा में भेजने का काम शुरू हो चुका है। गाँव में तीन दिनों तक स्वास्थ्य कैम्प लगाकर ग्रामीणों का इलाज किया जायेगा।