लखनऊ। यूपी के पूर्व मुख्यमंत्री कल्याण सिंह की हालत गंभीर है। उन्हें रविवार शाम लोहिया संस्थान से एसजीपीजीआई में क्रिटिकल केयर मेडिसिन विभाग के आईसीयू में भर्ती कराया गया है। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह व सीएम योगी आदित्यनाथ, भाजपा प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्रदेव सिंह समेत कई नेता उनका हाल लेने पहुंचे हालाँकि कल्याण सिंह किसी को भी नहीं पहचान पाए।
कल्याण सिंह करीब दो सप्ताह से बीमार चल रहे हैं। उन्हें 21 जून को लोहिया संस्थान में भर्ती कराया गया था। उनके शरीर में सूजन व संक्रमण था। संस्थान के मीडिया प्रभारी डॉ. श्रीकेश सिंह ने बताया कि एंटीबायोटिक्स समेत अन्य दवाएं देने पर संक्रमण कम हुआ। लेकिन, सीटी स्कैन में मस्तिष्क में खून का थक्का पाया गया। इसी बीच शनिवार शाम को ब्रेन स्ट्रोक और फिर माइनर हार्ट अटैक आने पर कल्याण सिंह को लखनऊ के राम मनोहर लोहिया आयुर्विज्ञान संस्थान में एडमिट कराया गया था।
एसजीपीजीआई के अनुसार यहां विशेषज्ञों का एक पैनल बनाया गया है और उनकी यथोचित जांच और उपचार शुरू किया गया है। प्रोफेसर आर के धीमन, निदेशक एवं प्रख्यात हेपेटोलॉजिस्ट एवं प्रोफेसर गौरव अग्रवाल, एन्डोसर्जन एवं मुख्य चिकित्सा अधीक्षक भी उनके उपचार की देखरेख करेंगे।
रविवार को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ उनसे मिलने लोहिया संस्थान पहुंचे थे। साथ ही रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य, भाजपा प्रदेश अध्यक्ष स्वतंत्रदेव सिंह समेत कई नेता उनका हाल लेने पहुंचे, यहां कल्याण सिंह किसी को नहीं पहचान पाए। सीएम योगी ने उनसे हाल-चाल पूछा लेकिन वह जवाब नहीं दे पाए। कल्याण सिंह सीएम के सवालों को भी नहीं समझ पा रहे थे। फिर मुख्यमंत्री ने डाक्टरों से उनकी तबीयत के बारे में जानकारी ली।
लोहिया संस्थान के चिकित्सा अधीक्षक डॉ विक्रम सिंह ने बताया कि, उन्हेंं पैरोटेड ग्लैंड में संक्रमण के बाद यहां लाया गया था। वह समस्या ठीक हो गई पर उसके बाद उन्हेंं एक माइनर ब्रेन स्ट्रोक भी आया, उनकी सोचने समझने की क्षमता फिलहाल कमजोर हो गई है। बीती रात हृदयाघात होने से स्थिति और भी गंभीर हो गई है। उनकी उम्र 90 वर्ष से अधिक हो चुकी है। इसी कारण उनके हृदय का ऑपरेशन भी नहीं हो सकता। फिलहाल दवाइयों से उनकी स्थिति को नियंत्रण में लाने की कोशिश की जा रही है।
कोरोना पॉजिटिव हुए थे कल्याण सिंह
कल्याण सिंह को सितंबर 2020 में कोरोना पॉजिटिव हो गया था। उन्हें संजय गांधी आयुर्विज्ञान संस्थान लखनऊ में भर्ती कराया गया था। पीजीआई के बाद गाजियाबाद के यशोदा अस्पताल कौशांबी में शिफ्ट किया गया था। अक्टूबर में कल्याण सिंह को अस्पताल से छुट्टी दे दी गई थी।
कल्याण सिंह राजनीतिक सफर
कल्याण सिंह पहली बार कल्याण सिंह जून 1991 में उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री बने थे। भाजपा के तेज तर्रार नेताओं में शामिल रहे कल्याण सिंह उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री के तौर पर बाबरी मस्जिद विध्वंस को लेकर खासे चर्चा में रहे। बाबरी मस्जिद विध्वंस के बाद उन्होंने इसकी नैतिक जिम्मेदारी लेते हुए 6 दिसंबर 1992 को मुख्यमंत्री पद से त्यागपत्र दे दिया था। इसके बाद कल्याण सिंह सितंबर 1997 से नवंबर 1999 तक फिर से उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री बने। बाबरी विध्वंस मामले में वह सीबीआई की जांच का सामना कर चुके हैं। हालांकि बाद में सीबीआई की विशेष अदालत ने उन्हें आरोपों से मुक्त कर दिया था।
राजस्थान और हिमाचल के रह चुके हैं राज्यपाल
कल्याण सिंह यूपी के मुख्यमंत्री के साथ ही राजस्थान और हिमाचल प्रदेश के राज्यपाल भी रह चुके हैं। वे 4 सितंबर 2014 से 8 सितंबर 2019 तक राजस्थान के राज्यपाल थे। इसके बाद जनवरी 2015 में हिमाचल प्रदेश के राज्यपाल का अतिरिक्त कार्यभार सौंपा गया था। उन्होंने 12 अगस्त 2015 तक हिमाचल प्रदेश के राज्यपाल का पदभार संभाला था।