यातयात नियमों का पालन न केवल आम जनता, बल्कि नियमों का पालन करवाने अधिकारी-कर्मचारियों को भी करना होता है। ऐसे में ट्रैफिक के दौरान आपको अपने अधिकार, नियम और कर्तव्य की जानकारी होनी चाहिए। साथ ही आप जब यात्रा के लिए निकलते हैं तो आप ट्रैफिक रुल का पूरी तरह से पालन करें ताकि आपको किसी तरह की परेशानी में फंसने की जरूरत ही न पड़े। ऐसे में आपको ये भी पता होना चाहिए कि किस तरह के ट्रैफिक रुल को आपको पालन करने की जरूरत है।
शहर में अक्सर देखा होगा कि सिपाही या हवलदार या असिस्टेंट सब इंस्पेक्टर स्तर के पुलिसकर्मी चालान की कार्रवाई करते रहते हैं। लेकिन आपको यह पता होना चाहिए कि ट्रैफिक पुलिस का हेड कॉन्सटेबल आप पर सिर्फ 100 रुपये का ही फाइन कर सकता है, इससे ज्यादा का फाइन सब इंस्पेक्टर या उससे ऊपर का अधिकारी ही कर सकता है। सब इस्पेक्टर से नीचे की रैंक के पुलिसकर्मी कहीं भी चालान नहीं काट सकते हैं। साथ ही पुलिस को किसी भी तरह का जुर्माना आप पर लगाने के लिए ज़रूरी है कि चालान किताब या ई-चालान उसके पास मौजूद हो। अगर पुलिस के पास चालान मौजूद नहीं है तो वे आप पर किसी प्रकार का फाइन या जुर्माना नहीं लगा सकते हैं।
यदि आपको कभी भी ट्रैफिक पुलिस रोकते है तो आपका फ़र्ज़ है कि बिना किसी बहस के आप रुक जाएं और अफ़सर द्वारा मांगे गए कागज़ात उन्हें दिखाएं लेकिन ध्यान रहे कि वो आपके दस्तावेज को अपने पास नहीं रख सकते। मोटर वाहन अधिनियम की धारा 130 के अंतर्गत ये साफ़ बताया गया है कि किसी पब्लिक प्लेस में वाहन चालक को वर्दी धारी पुलिस अधिकारी को लाइसेंस दिखाना होगा, इस धारा से साफ़ है कि यहाँ सिर्फ़ लाइसेन्स दिखाने की बात हो रही है, उनके हाथ में देने की नहीं।
वहीं ट्रैफिक के नियम तोड़ने पर ट्रैफिक पुलिस के पास यह पावर है कि वह नियम तोड़ने वाले का लाइसेंस जब्त कर ले। लाइसेंस की यह जब्ती तीन महीने के लिए होगी। इन मामलों में लाइसेंस जब्त किया जा सकता है:- रेड लाइट जंप करना, सामान की ओवरलोडिंग, बोझा ढोने वाले वाहनों में सवारी लेकर चलना, शराब पीकर या ड्रग्स लेकर गाड़ी चलाना, ड्राइविंग करते हुए मोबाइल पर बात करना और ओवर स्पीडिंग। अगर आप बिना रजिस्ट्रेशन वाला वाहन चला रहे हैं या बिना परमिट के वाहन चला रहे हैं तो पुलिस के पास आपके वाहन को हिरासत में लेने का अधिकार है।
अगर आपका चालान कटा है और आपके पास फाइन देने के लिए पैसे नहीं है तो आप फाइन बाद में भी दे सकते हैं। इस सूरत में आपको कोर्ट चालान जारी किया जाएगा। एक तारीख दी जाएगी जब आपको कोर्ट में जाकर चालान देना होगा। इस स्थिति में ट्रैफिक अफसर आपका ड्राइविंग लाइसेंस अपने पास रख सकता है। यदि आपका ड्राइविंग लाइसेन्स ज़ब्त हो जाता है तो पुलिस आपको एक रसीद देगी।
मोटर व्हीकल रूल्स के मुताबिक अगर आप ट्रैफिक पुलिस को मांगने पर फौरन रजिस्ट्रेशन सर्टिफिकेट, इंश्योरेंस सर्टिफिकेट, पॉल्यूशन अंडर कंट्रोल सर्टिफिकेट, ड्राइविंग लाइसेंस और परमिट सर्टिफिकेट नहीं दिखाते, तो यह जुर्म नहीं है। इसके बाद भी अगर पुलिस दस्तावेज तत्काल नहीं दिखाने पर चालान काट देती है, तो आपके पास कोर्ट में इसे खारिज कराने का विकल्प रहता है।
सेंट्रल मोटर व्हीकल कानून के नियम 139 में प्रावधान किया गया है कि वाहन चालक को दस्तावेज को पेश करने के लिए 15 दिन का समय दिया जाएगा। मोटर व्हीकल कानून 2019 की धारा 158 के तहत एक्सीडेंट होने या किसी विशेष मामलों में इन दस्तावेजों को दिखाने का समय 7 दिन का होता है।
सड़कों पर अगर आप वाहन चला रहे हैं तो सबसे ज्यादा झगड़े पुलिस के चलती गाड़ी से जबरन चाबी खींचना या हाथ पकड़कर रोकने घटनाओं से सामने आता है, जिससे वाहन चालक दुघर्टना ग्रस्त भी हो सकता है। इसके अलावा कई मामले ऐसे भी आए हैं कि पुलिस वाले बेवजह पैसा वसूलते हैं।
चालान 3 तरह के होते हैं:
1- ऑन द स्पॉट चालान: ये चालान तब काटे जाते हैं, जब नियम तोड़ने वाले को पुलिस रंगे हाथों पकड़ लेती है और उसे चालान थमाकर वहीं जुर्माना वसूल लेती है। कोई अगर उस वक्त जुर्माना नहीं भरना चाहे तो पुलिस डीएल जमा कराकर चालान दे देती है, जिसे बाद में जमा कराया जा सकता है।
2- नोटिस चालान: अगर कोई नियम तोड़कर भाग गया तो पुलिस उसका नंबर नोट कर उसके घर चालान भिजवा देती है। इस चालान का जुर्माना भरने के लिए आरोपी को एक महीने का वक्त दिया जाता है। अगर समय पर जुर्माना नहीं भरा गया तो चालान कोर्ट भेज दिया जाता है।
3- कोर्ट के चालान: कोर्ट के चालान आमतौर पर कानून तोड़ने की ऐसी गंभीर घटनाओं में दिए जाते हैं, जिनमें जुर्माना और सजा दोनों का प्रावधान है। शराब पीकर गाड़ी चलाना ऐसा ही मामला है। ये किए तो ऑन द स्पॉट ही जाते हैं, लेकिन इनका जुर्माना पुलिसकर्मी नहीं वसूलते। इसके लिए कोर्ट ही जाना होता है।
पुलिस को नहीं है ये करने का अधिकार
सामने से आते वाहन को रोकने के लिए चलते वाहन पर चालक का हाथ नहीं पकड़ सकती पुलिस।
चलती गाड़ी से चाबी खींचकर आपको नहीं रोक सकती पुलिस।
चार पहिया वाहन के सामने अचानक बैरीकेड्स नहीं लगा सकती पुलिस।
अगर आपकी गाड़ी सड़क के किनारे खड़ी है तो क्रेन उसे तब तक नहीं उठा सकती, जब तक आप गाड़ी के अंदर बैठे हों।
आपको है शिकायत करने का हक
सड़क पर टू-व्हीलर राइड करने के दौरान यदि पुलिस जवान या ट्रैफिक वार्डन चाबी खींचकर या दबाव देकर आपको रोकते हैं तो वाहन चालक के पास अधिकार होता है कि वह वरिष्ठ अधिकारियों से उनकी शिकायत कर सकते हैं।